संवाददाता: दानवीर सिंह
उत्तर प्रदेश: मुरादाबाद बिलारी ब्लॉक से हिला देने वाला मामला सामने आया विकासखंड बिलारी की ग्राम पंचायत सरसथ से ऐसी सनसनीखेज सच्चाई सामने आई है जिसने पूरे प्रशासनिक तंत्र को झकझोर दिया है।
सरकारी विकास योजनाओं के नाम पर यहां भ्रष्टाचार का तांडव रचा गया जहां जनता के अधिकारों की जगह फर्जी बिल, फर्जी हस्ताक्षर और फर्जी रिपोर्टों ने कब्जा कर लिया यह कहानी है
ग्राम सरसथ की लेकिन हकीकत इतनी भयानक है कि यह पूरे शासन-प्रशासन की सच्चाई का आइना दिखा रही है भ्रष्टाचार का किला ग्राम सरथल में विकास नहीं विनाश हुआ वर्ष 2021-22 के दौरान ग्राम पंचायत सरसथ को विकास कार्यों के लिए सरकार ने ₹31 लाख 21 हजार 450 रुपये का बजट जारी किया। लेकिन जब जांच शुरू हुई तो एक-एक ईंट ने सच उगल दिया जहां न सड़क बनी न नाली न स्कूल की मरम्मत वहां कागजों में सब कुछ पूरा दिखा दिया गया बिल बने, पेमेंट हुआ, लेकिन जमीन पर सन्नाटा छाया रहा पंचायत सचिव और प्रधान की मिलीभगत से सरकारी फंड ऐसे गायब हुए जैसे रात के अंधेरे में भूत निगल गया हो RTI से फूटा बारूद खुली सिस्टम की पोल ग्राम के ही निवासी मोनू राठौर पुत्र विजयपाल सिंह राठौर ने लगाए आरोप कहा कि जब सूचना का अधिकार (RTI) दाखिल किया तो सत्ता के गलियारों में हड़कंप मच गया उन्होंने मांगी थी बस जानकारी कहां गए हमारे गांव के विकास के पैसे?लेकिन जो जवाब आया वो किसी भ्रष्टाचार के महाभारत से कम नहीं था RTI में खुलासा हुआ कि पंचायत सचिव और प्रधान ने फर्जी हस्ताक्षरों से लाखों रुपये ट्रांसफर कराए कई विकास कार्यों की रसीदें बनाई गईं लेकिन सामान कभी खरीदा ही नहीं गया ग्राम सभा की जमीनें आबादी के नाम पर अवैध रूप से बांटी गईं ग्रामीण ने आरोप लगाए कि प्राथमिक विद्यालय के पास की भूमि पर अवैध कब्जा किया गया जांच करने वाले अफसर मौके पर गए ही नहीं ऑफिस में बैठकर संतोषजनक रिपोर्ट टाइप कर दी कागजों में विकास असल में बर्बादी ग्राम सरसथ की गलियां आज भी टूटी पड़ी हैं, लेकिन फाइलों में वहां इंटरलॉकिंग रोड चमक रही है स्कूल की छत टपक रही है, लेकिन रिपोर्ट में मरम्मत पूरी गंदगी के ढेर पर बच्चे खेल रहे हैं, लेकिन दस्तावेजों में स्वच्छता अभियान सफल लिखा गया है यह कोई गलती नहीं यह सुनियोजित लूट है जनता की मेहनत की कमाई से बने सरकारी फंड को ऐसे हड़पा गया जैसे गांव की तिजोरी किसी ने दिन-दहाड़े लूट ली हो जिला पंचायत राज अधिकारी के दफ्तर से निकला विस्फोटक जवाब 26 जुलाई 2024 को जारी पत्र संख्या 1871/जनसूचना/2024-25 में खुद जिला पंचायत राज अधिकारी, मुरादाबाद ने माना आवेदक द्वारा मांगी गई सूचनाएं गंभीर प्रकृति की हैं। इन्हें तहसील स्तर पर जांच हेतु प्रेषित किया गया है इसका मतलब साफ है फाइलों में घोटाला है, और सबूत अब सरकारी रेकॉर्ड में फंसे पड़े हैं जनता का सवाल कब तक चलेगा यह काला खेल?गांव के लोग अब खुलकर बोलने लगे हैं एक बुजुर्ग ग्रामीण ने फफकते हुए कहा हमने सड़क मांगी थी इन लोगों ने हमारे सपनों की लाश बिछा दी महिलाएं का आरोप कहा कि कहती हैं प्रधान ने वादा किया था पानी लाने का लेकिन टंकी आज तक नहीं बनी। बस फोटो खिंचवाए और पैसे निकाल लिए यानी विकास के नाम पर जो खेल चला, वह सिर्फ कागजों की जालसाजी था और उसका शिकार हुआ गरीब किसान, मजदूर, और बच्चा राजनीतिक संरक्षण में भ्रष्टाचार साम्राज्य ग्राम पंचायत का यह मामला कोई छोटा खेल नहीं यह एक पूरे सिस्टम की साजिश है जहां अफसरों ने आंखें मूंद लीं, और प्रधान-सचिव ने हाथ साफ कर लिया फाइलें आगे नहीं बढ़ीं क्योंकि ऊपर तक हिस्सा पहुंच चुका था जिन विभागों को जांच करनी थी, वही मौन साधे बैठे हैं अब सवाल उठता है क्या जिले का प्रशासन भी इस गंदे खेल का हिस्सा है?आवेदन करने वाला अब डर के साए में सूत्रों के अनुसार, आरटीआई डालने वाले नागरिक मोनू राठौर को अब धमकियां मिलने लगी हैं कुछ लोगों ने उन्हें चुप रहने की चेतावनी दी है, ताकि यह मामला दबा दिया जाए लेकिन उन्होंने साफ कहा है भ्रष्टाचारियों को बेनकाब करना ही अब मेरा मिशन है अगर मुझे कुछ हुआ तो इसकी जिम्मेदारी वही लोग होंगे जिन्होंने जनता का पैसा खाया अब क्या होगा अगला कदम?जिला प्रशासन के पास पूरा मामला दर्ज है तहसील स्तर की जांच टीम गठित हो चुकी थी लेकिन क्या सच्चाई सामने आएगी? या यह फाइल भी बाकी घोटालों की तरह रैक में सड़ती रहेगी? नतीजा ग्राम सरसथ बना भ्रष्टाचार का अड्डा विकास कार्यों के नाम पर जनता के पैसों से खेला गया यह भ्रष्टाचार का महाघोटाला अब खुल चुका है यह मामला सिर्फ एक गांव का नहीं बल्कि पूरे प्रशासनिक सिस्टम की पोल खोलता है अगर अब भी कार्रवाई नहीं हुई, तो यह साफ हो जाएगा कि भ्रष्टाचार इस सिस्टम का धर्म बन चुका है सरकार और प्रशासन को जवाब देना होगा कब तक जनता का पैसा इस तरह लूटा जाएगा?कब तक विकास के नाम पर मौत की तरह खामोश रहेंगे अफसर?और कब तक आम आदमी को बेवकूफ बनाया जाएगा?ग्राम पंचायत सरथल जहां विकास की जगह भ्रष्टाचार का मंदिर बना हुआ है जनता रो रही है लेकिन फाइलें मुस्कुरा रही हैं।





