BY: Yoganand Shrivastva
डोनाल्ड ट्रंप और एलन मस्क के बीच तनाव अब सार्वजनिक हो चुका है। दोनों प्रभावशाली शख्सियतों के बीच हालिया बयानबाज़ी ने अमेरिकी राजनीति और बिजनेस वर्ल्ड दोनों में हलचल मचा दी है। जहां एक ओर ट्रंप ने मस्क पर तंज कसा, वहीं मस्क ने सीधे-सीधे दावा कर दिया कि उनके बिना ट्रंप की चुनावी जीत नामुमकिन थी।
ट्रंप का तंज: “एलन मस्क को हो गया है ‘ट्रंप डिरेंजमेंट सिंड्रोम'”
गुरुवार को डोनाल्ड ट्रंप ने एलन मस्क पर कटाक्ष करते हुए कहा कि मस्क अब भी व्हाइट हाउस की याद में जी रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि अरबपति उद्यमी को ‘Trump Derangement Syndrome’ हो गया है — यानी वह उन्हें लेकर जुनूनी और असंतुलित हो गए हैं। ट्रंप का यह बयान ऐसे समय आया जब मस्क लगातार उनके एक विधेयक की आलोचना कर रहे थे।
एलन मस्क का पलटवार: “मेरे बिना ट्रंप हार जाते चुनाव”
एलन मस्क ने भी पलटवार करने में देर नहीं लगाई। उन्होंने X (पहले ट्विटर) पर लिखा, “अगर मैं न होता, तो ट्रंप 2024 का राष्ट्रपति चुनाव हार जाते। डेमोक्रेटिक पार्टी हाउस पर कब्ज़ा जमा लेती और सीनेट में रिपब्लिकन का संतुलन सिर्फ 51-49 पर सिमट जाता।” मस्क ने यह भी कहा कि ट्रंप अब कृतघ्न हो चुके हैं।
बिल विवाद की जड़ में EV नीति
ट्रंप और मस्क के बीच तकरार की शुरुआत एक आर्थिक विधेयक से हुई है, जिसे ट्रंप ने ‘बिग ब्यूटीफुल बिल’ कहा था। ट्रंप ने मस्क पर आरोप लगाया कि वे बिल की बारीकियों से भलीभांति वाकिफ थे लेकिन उन्हें तब परेशानी हुई जब EV (इलेक्ट्रिक वाहन) नीति को कमज़ोर किया गया।
इसके जवाब में मस्क ने ट्रंप के बयान को नकारते हुए कहा, “मुझे यह बिल कभी दिखाया ही नहीं गया। इसे इतनी तेज़ी से पास किया गया कि कांग्रेस के किसी सदस्य को भी इसे पढ़ने का समय नहीं मिला।”
पहले करीबी थे, अब विरोध में
कभी एलन मस्क ट्रंप के करीबी माने जाते थे और सलाहकार की भूमिका भी निभा रहे थे। सरकारी खर्चों में कटौती के लिए बनी एक विशेष समिति की ज़िम्मेदारी भी उन्हें दी गई थी। लेकिन अब उन्होंने न सिर्फ वह पद छोड़ा, बल्कि ट्रंप की नीतियों पर खुलकर आलोचना भी कर रहे हैं।
क्या यह दरार और गहरी होगी?
एक समय ट्रंप के समर्थक रहे मस्क अब उनके सबसे मुखर आलोचकों में से एक बन चुके हैं। दोनों की बयानबाज़ी यह संकेत दे रही है कि आने वाले चुनावों और नीतिगत फैसलों में यह मतभेद और भी उभर कर सामने आ सकते हैं।