रिपोर्ट- अंकुर कपूर
यमुनानगर: हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने मंगलवार को यमुनानगर के कलेसर नेशनल पार्क में एक महत्वपूर्ण पहल करते हुए श्री गुरु तेग बहादुर जी वन, वन्य जीव एवम् जैव विविधता संरक्षण ब्लॉक का उद्घाटन किया। यह कदम श्री गुरु तेग बहादुर जी के 350वें बलिदान वर्ष के उपलक्ष्य में उठाया गया है।
विद्यार्थियों संग रोपे 350 पौधे, किया सफारी ट्रेल का शुभारंभ
मुख्यमंत्री सैनी ने कलेसर में आयोजित कार्यक्रम में श्री गुरु तेग बहादुर जी वन एवं वन्य जीव संरक्षण ब्लॉक का अनावरण किया। इस अवसर पर उन्होंने विद्यार्थियों के साथ मिलकर 350 पौधे लगाए। इसके साथ ही, उन्होंने राष्ट्रीय उद्यान में सफारी ट्रेल का शुभारंभ और श्री गुरु तेग बहादुर जी द्वार का भी उद्घाटन किया।
मुख्यमंत्री ने भविष्य की परियोजनाओं की आधारशिला भी रखी, जिनमें ए.आई. आधारित मॉनिटरिंग टावर, ट्री कैनोपी वॉक, और तीन स्तरीय वॉच टावर शामिल हैं।
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा, “देश व धर्म की रक्षा के लिए बलिदान देने वालों में श्री गुरु तेग बहादुर जी का नाम सबसे ऊपर लिया जाता है। कलेसर की यह हरी-भरी धरा आज प्रकृति, आध्यात्मिकता और मानवीय मूल्यों के संगम का प्रतीक बन रही है। यह वन, गुरुजी के पर्यावरण के प्रति प्रेम की विरासत को आगे बढ़ाएगा।”

कृषि महाविद्यालय और बाईपास की घोषणा
मुख्यमंत्री सैनी ने यमुनानगर जिले के लिए दो अहम घोषणाएं भी कीं, कृषि महाविद्यालय का नामकरण: प्रतापनगर, किशनपुरा के 45 एकड़ में बनने वाले कृषि महाविद्यालय का नाम भी श्री गुरू तेग बहादुर जी के नाम पर रखा जाएगा।
बाईपास निर्माण: यमुनानगर-कपालमोचन सड़क बाईपास की फिजीबिलिटी (संभाव्यता) जाँच कर उसके निर्माण की दिशा में काम किया जाएगा।
त्याग और प्रकृति प्रेम का प्रतीक
मुख्यमंत्री ने ‘हिंद की चादर’ श्री गुरु तेग बहादुर जी को त्याग, करुणा और साहस की मिसाल बताया।
उन्होंने आगे कहा, “सच्चा धर्म वही है, जिसमें प्रकृति, प्राण और मनुष्य तीनों के प्रति समान प्रेम हो। गुरुजी के जीवन में शांत जल की गहराई और घने पेड़ों की विनम्रता झलकती है। आज कलेसर में यह संरक्षण ब्लॉक स्थापित होना, उनकी शिक्षाओं का जीवंत रूप है। उन्होंने कहा कि भारतीय संस्कृति में वन शिक्षा, साधना और लोक कल्याण के केंद्र रहे हैं।
‘एक पेड़ मां के नाम’ अभियान की सफलता
मुख्यमंत्री ने पर्यावरण संरक्षण के लिए राज्य सरकार की प्रतिबद्धता दोहराई। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 5 जून 2024 को शुरू किए गए ‘एक पेड़ मां के नाम’ अभियान का जिक्र करते हुए बताया कि पहले चरण में 1.87 करोड़ और दूसरे चरण में 2.10 करोड़ पौधे लगाए गए हैं।
वृक्षारोपण लक्ष्य: वर्ष 2014 से अब तक हरियाणा में 18 करोड़ से अधिक पौधे लगाए जा चुके हैं।
संरक्षण पहल: अवैध कटाई रोकने, वन्यजीवों के संरक्षण, और दक्षिण हरियाणा में हरित अरावली कार्य योजना शुरू की गई है।
आधुनिक निगरानी: वन विभाग द्वारा लगाए गए पौधों की 5 वर्ष तक ग्रोथ पर आधुनिक तकनीक से कड़ी नजर रखी जा रही है।
मुख्यमंत्री ने युवाओं से एक पेड़ को संरक्षक की तरह गोद लेने की अपील की और कहा कि हर स्कूल को प्रकृति शिक्षा को अपनाना चाहिए, ताकि प्रदेश को हरा-भरा बनाया जा सके।





