रिपोर्टरः वैभव चौधरी धमतरी–अपडेटः योगानंद श्रीवास्तव
धमतरी: धमतरी जिले के भटगांव गांव से प्रधानमंत्री आवास योजना (PMAY) में फर्जीवाड़े का एक गंभीर मामला सामने आया है। ग्रामीणों को जब इस अनियमितता की जानकारी मिली तो वे बड़ी संख्या में जिला पंचायत कार्यालय पहुंचे और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग की।
फर्जी तरीके से आवंटित हुए पीएम आवास
गांव के निवासियों का आरोप है कि उनके मनरेगा जॉब कार्ड का दुरुपयोग कर किसी और व्यक्ति के नाम पर प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत मकान स्वीकृत कर दिया गया है। जब ग्रामीण खुद योजना का लाभ लेने के लिए आवेदन करने ग्राम पंचायत पहुंचे, तो उन्हें बताया गया कि उनके नाम पर पहले ही आवास बन चुका है। यह सुनकर ग्रामीण स्तब्ध रह गए।
कच्चे मकानों में रहने को मजबूर हैं ग्रामीण
ग्रामीणों ने बताया कि वे लंबे समय से कच्चे मकानों में रह रहे हैं और कई बार प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत घर की मांग कर चुके हैं। बावजूद इसके, उनके नाम का उपयोग कर किसी अन्य को योजना का लाभ दे दिया गया, जो उनके साथ धोखा है।
पंचायत पर गंभीर आरोप
ग्रामीणों ने ग्राम पंचायत पर मिलीभगत का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि लगभग 30 लोगों के जॉब कार्ड का गलत तरीके से उपयोग कर अन्य लोगों को आवास आवंटित किए गए हैं।
जांच की मांग और प्रशासन की प्रतिक्रिया
प्रभावित ग्रामीणों ने जिला पंचायत कार्यालय में ज्ञापन सौंपते हुए दोषियों के खिलाफ सख्त जांच और कार्रवाई की मांग की है। इसके साथ ही उन्होंने उचित लाभार्थियों को जल्द योजना का लाभ देने की भी अपील की है।
इस पूरे मामले पर जिला पंचायत सीईओ ने कहा है कि शिकायत की जांच की जा रही है और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। साथ ही पात्र लाभार्थियों को योजना का लाभ दिलाने की दिशा में भी उचित कदम उठाए जाएंगे। यह मामला बताता है कि जरूरतमंदों को सरकारी योजनाओं से वंचित करना कितना गंभीर अपराध है, जिसकी निष्पक्ष जांच और जवाबदेही तय करना बेहद जरूरी है।
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