आगरा में पर्यावरण संरक्षण और यात्रियों की सुविधा के लिए फरवरी 2025 में 38 इलेक्ट्रिक बसें खरीदी गई थीं। करीब एक-एक करोड़ रुपये की इन बसों पर कुल 38 करोड़ रुपये खर्च हुए, लेकिन पांच महीने बीतने के बाद भी ये बसें सड़कों पर नहीं उतर पाई हैं।
कारण साफ है—चार्जिंग स्टेशन की तैयारी पूरी नहीं हो पाई। नतीजतन, आधुनिक सुविधाओं से लैस ये बसें डिपो में खड़ी-खड़ी धूल फांक रही हैं।
कब और क्यों मिली थीं ये बसें?
- फरवरी 2025 में शासन ने आगरा को 38 इलेक्ट्रिक बसें सौंपी थीं।
- इनका उद्देश्य था यात्रियों को आरामदायक सफर और पर्यावरण को कम प्रदूषण का तोहफा देना।
- परिवहन निगम ने आगरा के लिए 100 बसों का प्रस्ताव भेजा था, लेकिन फिलहाल 38 ही मिलीं।
बसों की मौजूदा स्थिति
- सभी बसें आगरा फोर्ट डिपो में खुले में खड़ी हैं।
- बारिश के कारण कुछ बसों पर जंग लगने लगी है।
- रखरखाव न होने से दरवाजों में दरार आ चुकी है।
- अगर जल्द ध्यान न दिया गया तो करोड़ों की ये बसें कुछ ही महीनों में जर्जर हो सकती हैं।
चार्जिंग स्टेशन क्यों नहीं बना?
बसों के संचालन से पहले चार्जिंग स्टेशन तैयार होना जरूरी था, लेकिन इसमें विभाग की लापरवाही खुलकर सामने आई है।
- डिपो में 8 चार्जिंग प्वाइंट लगाए जा चुके हैं।
- इन प्वाइंट को बिजली देने के लिए अलग स्ट्रांग रूम बन रहा है।
- इसके लिए 11 हजार किलोवाट की भूमिगत लाइन डाली जाएगी।
- यह प्रक्रिया अभी अधूरी है और कम से कम एक महीने और लग सकता है।
इलेक्ट्रिक बसों की खासियत
- सभी बसें 45 सीटर हैं।
- जीपीएस और CCTV कैमरे लगे हैं।
- आपातकालीन बटन की सुविधा उपलब्ध।
- वातानुकूलित और आरामदायक सीटों से लैस।
- एक बार चार्ज होने पर 200 किमी तक का सफर तय कर सकती हैं।
- केवल 2-3 घंटे में चार्जिंग पूरी हो जाती है।
- संचालन से शोर और प्रदूषण दोनों में कमी आएगी।
किन रूट्स पर चलेंगी ये बसें?
चार्जिंग पूरी होने के बाद ये बसें आगरा से कई रूट्स पर चलाई जाएंगी, जैसे:
- नोएडा (यमुना एक्सप्रेसवे से)
- मथुरा
- फिरोजाबाद
- मैनपुरी
- बेवर
- फर्रूखाबाद
साथ ही, गंतव्य जिलों के डिपो में भी चार्जिंग प्वाइंट की व्यवस्था की जाएगी।
आगरा की जनता और पर्यावरण, दोनों इन इलेक्ट्रिक बसों से मिलने वाले फायदे का इंतजार कर रहे हैं। लेकिन विभागीय सुस्ती और अधूरे चार्जिंग स्टेशन के कारण 38 करोड़ रुपये की बसें व्यर्थ खड़ी हैं।
परिवहन निगम का दावा है कि चार्जिंग स्टेशन का काम जल्द पूरा होगा और जल्द ही ये बसें सड़कों पर दौड़ती नजर आएंगी।





