US टैरिफ लागू: चीन, EU और जापान पर भारी असर
BY: Vijay Nandan
वाशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लगाए गए भारी-भरकम टैरिफ बुधवार से प्रभावी हो गए हैं। इन टैरिफों में चीन से आयात होने वाले सामानों पर 104% तक की ड्यूटी शामिल है। इसके अलावा यूरोपीय संघ, जापान और अन्य सहयोगी देशों पर भी शुल्क लागू किया गया है, जिससे वैश्विक बाजारों में हलचल मच गई है।
क्या है टैरिफ की पूरी तस्वीर?
- चीन पर सबसे ज्यादा असर: चीन से अमेरिका में आने वाले उत्पादों पर 104% तक का आयात शुल्क लगा दिया गया है। जवाबी कार्रवाई में चीन ने भी अमेरिकी वस्तुओं पर 34% की अतिरिक्त ड्यूटी लगाने की घोषणा की है।
- यूरोपीय संघ: यूरोप के देशों पर 20% शुल्क लागू किया गया है। यूरोपीय ट्रेड मंत्रियों ने इस पर आपात बैठक बुलाई है और लगभग 25.7 अरब यूरो के जवाबी शुल्क प्रस्ताव पर बुधवार को वोटिंग होगी।
- अन्य देश: जापान, दक्षिण कोरिया और वियतनाम जैसे देशों को बातचीत का न्योता मिला है। ट्रंप ने कहा कि “ये देश डील के लिए बेताब हैं।”

“पुनः प्रतिकार” या ‘बदले की नीति’?
व्हाइट हाउस ने इन टैरिफों को “पारस्परिक” (reciprocal) करार दिया है, लेकिन कई अर्थशास्त्रियों ने इसे गलत ठहराया है।
पेटर्सन इंस्टीट्यूट के विशेषज्ञ डग इरविन के मुताबिक, टैरिफ की गणना में अन्य देशों की मौजूदा ड्यूटी को शामिल नहीं किया गया। सिर्फ अमेरिका के व्यापार घाटे को आधार बनाकर शुल्क तय किया गया है।
CSIS के सलाहकार बिल रेनश का कहना है कि ट्रंप व्यापार घाटे को केवल एक ही नजर से देखते हैं, और उनके पास केवल एक हथियार है — टैरिफ। उन्होंने कहा कि यह अब एक आर्थिक नीति नहीं बल्कि “बदले की कार्रवाई” बन चुकी है।
बाजारों में भूचाल, मंदी की आशंका
- S&P 500 में भारी गिरावट: अनुमान है कि अमेरिकी शेयर बाजार से लगभग 6 ट्रिलियन डॉलर की पूंजी नष्ट हो चुकी है।
- एशियाई बाजारों में गिरावट: चीन की मुद्रा युआन अमेरिकी डॉलर के मुकाबले ऐतिहासिक न्यूनतम पर पहुंच गई।
- कच्चे तेल की कीमतें भी नीचे आईं, जिससे वैश्विक मंदी की संभावना बढ़ी है।
यूरोपीय प्रतिक्रिया में संतुलन की कोशिश
जर्मनी के आर्थिक मंत्री रॉबर्ट हेबेक ने कहा कि “यूरोप को एकजुटता के साथ जवाब देना होगा।” यूरोपीय आयोग की अध्यक्ष उर्सुला वॉन डेर लेयेन ने चीन के प्रधानमंत्री ली च्यांग से बातचीत में व्यापार स्थिरता और टकराव टालने पर ज़ोर दिया।
ट्रंप का दावा: “देश हमें कॉल कर रहे हैं, समझौते के लिए बेचैन हैं”
एक डिनर के दौरान ट्रंप ने कहा, “देश हमें फोन कर रहे हैं, हमारी मर्जी के मुताबिक समझौते के लिए तैयार हैं।”
उन्होंने यह भी कहा कि “ये देश हमारे पीछे पड़े हैं, जैसे मेरी तारीफों के पुल बांध रहे हों।” इस बीच कनाडा ने भी बुधवार से कुछ अमेरिकी ऑटो उत्पादों पर जवाबी शुल्क लगाने की घोषणा कर दी है।
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