BY: Yoganand Shrivastva
नई दिल्ली: केंद्र सरकार वक्फ संशोधन बिल को संसद में पेश करने की तैयारी में जुटी हुई है, लेकिन इस विधेयक का कई राजनीतिक और धार्मिक संगठनों द्वारा विरोध किया जा रहा है। इसी के चलते ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने इसके खिलाफ देशभर में प्रदर्शन करने का ऐलान किया है। पटना में बिहार विधानसभा के सामने आज बड़े पैमाने पर प्रदर्शन की योजना बनाई गई है, जिसमें जेडीयू (JDU) और टीडीपी (TDP) सहित अन्य दलों को भी शामिल होने का निमंत्रण दिया गया है।
सरकार ने बुलाई थी बैठक, लेकिन हुई रद्द
सरकार ने आज संसद में वक्फ संशोधन विधेयक पर चर्चा के लिए सभी सांसदों की बैठक बुलाई थी। यह बैठक संसद भवन के समन्वय कक्ष में सुबह 9:30 बजे से 10:30 बजे तक होनी थी, लेकिन इसे अचानक रद्द कर दिया गया। इस बैठक में वक्फ संपत्तियों से जुड़े विवादों और इस विधेयक में किए गए संशोधनों पर चर्चा होनी थी।
AIMPLB का विरोध और विपक्षी दलों का समर्थन
AIMPLB इस बिल का विरोध करने के लिए लगातार विपक्षी दलों को एकजुट करने की कोशिश कर रहा है। इससे पहले उसने दिल्ली के जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन कर अपनी ताकत दिखाई थी और अब पटना में इसी तरह का प्रदर्शन करने की तैयारी है। संगठन का कहना है कि यह बिल वक्फ संपत्तियों के अधिकारों को प्रभावित कर सकता है, इसलिए इसे वापस लिया जाना चाहिए।
इस विरोध प्रदर्शन में राष्ट्रीय जनता दल (RJD), कांग्रेस, लोक जनशक्ति पार्टी (LJP), टीडीपी, YSR कांग्रेस और वाम दलों को भी शामिल होने का न्योता भेजा गया है। AIMPLB का मानना है कि इस बिल को संसद में पास होने से रोकने के लिए सभी विरोधी दलों को एक मंच पर आना होगा।
बीजेपी की ‘सौगात-ए-मोदी’ मुहिम
वहीं, दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने मुसलमानों के बीच अपनी पकड़ मजबूत करने के लिए ‘सौगात-ए-मोदी’ नाम से एक नई पहल शुरू की है। इस मुहिम के तहत ईद के मौके पर गरीब मुस्लिम परिवारों को खाद्य सामग्री और कपड़े उपहार में दिए जा रहे हैं। इस गिफ्ट पैक में सेवइयां, खजूर, ड्राई फ्रूट्स, चीनी, बेसन, घी, महिलाओं के लिए सूट और पुरुषों के लिए कुर्ता-पायजामा शामिल किया गया है।
बीजेपी माइनॉरिटी सेल के कार्यकर्ता देशभर में 32 लाख गरीब मुस्लिम परिवारों तक यह ईद किट पहुंचाने का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं। दिल्ली से शुरू हुई इस मुहिम को लेकर बीजेपी का कहना है कि यह अल्पसंख्यकों के साथ सामंजस्य बढ़ाने की पहल है, लेकिन विपक्षी दल इसे राजनीतिक रणनीति करार दे रहे हैं।
विपक्षी दलों की प्रतिक्रिया
कांग्रेस और समाजवादी पार्टी सहित कई विपक्षी दलों ने ‘सौगात-ए-मोदी’ अभियान को वोट बैंक की राजनीति करार दिया है। विपक्ष का कहना है कि यह सिर्फ चुनावी फायदे के लिए किया जा रहा है और इससे मुसलमानों को कोई स्थायी लाभ नहीं मिलेगा।
क्या है आगे की रणनीति?
- सरकार कभी भी संसद में पेश कर सकती है वक्फ संशोधन बिल।
- AIMPLB ने पटना में विरोध प्रदर्शन की तैयारी कर ली है, अन्य राज्यों में भी प्रदर्शन की संभावना।
- बीजेपी अपनी ‘सौगात-ए-मोदी’ मुहिम को पूरे देश में विस्तार दे रही है।
- विपक्षी दल इस मुद्दे को लेकर सरकार पर हमलावर हैं।
अब देखना यह होगा कि सरकार इस बिल को कब संसद में पेश करती है और इसका विरोध कितना प्रभावी साबित होता है। वहीं, बीजेपी की नई पहल का अल्पसंख्यक समुदाय पर क्या असर पड़ता है, यह भी आने वाले दिनों में साफ हो जाएगा।
अर्जेंटीना बनाम ब्राजील: विश्व कप क्वालिफायर का रोमांचक मुकाबला…यह भी पढ़े