BY: VIJAY NANDAN
अहमदाबाद: गुजरात एंटी टेररिज़्म स्क्वॉड (ATS) और भारतीय तटरक्षक बल (Indian Coast Guard) ने संयुक्त ऑपरेशन में अंतरराष्ट्रीय ड्रग तस्करी के एक बड़े नेटवर्क का पर्दाफाश किया है। 12 और 13 अप्रैल की रात को अरब सागर में एक पाकिस्तानी नाव से 400 किलोग्राम मेथमफेटामाइन (ICE) जब्त किया गया, जिसकी अंतरराष्ट्रीय बाजार में कीमत करीब 1800 करोड़ रुपये आंकी गई है।
गुजरात एटीएस के डीआईजी सुनील जोशी ने प्रेस वार्ता में बताया कि यह कार्रवाई एक गुप्त सूचना के आधार पर की गई थी, जो एटीएस इंस्पेक्टर जी.एम. पटेल को मिली थी। सूचना के अनुसार, पाकिस्तान के एक ड्रग्स सप्लायर फिदा द्वारा एक नाव के जरिए यह खेप भारत भेजी जा रही थी। यह नाव तमिलनाडु के रास्ते भारत में प्रवेश करने वाली थी।
#WATCH | Ahmedabad, Gujarat | DIG Gujarat ATS Sunil Joshi says," On the night of 12-13 Apr 25, Gujarat ATS and Indian Coast Guard have seized narcotics- methamphetamine(ICE)- worth Rs 1800 crore in the international market…Gujarat ATS Inspector GM Patel had got information that… pic.twitter.com/7bO32FUlBi
— ANI (@ANI) April 14, 2025
ऑपरेशन की रूपरेखा
गुजरात एटीएस ने सूचना मिलते ही भारतीय तटरक्षक बल के साथ साझा रणनीति तैयार की। 12 अप्रैल की रात को जब कोस्ट गार्ड के जहाज ने संदिग्ध नाव को समुद्र में घेरा, तो उसमें सवार लोग घबरा गए और कई पैकेट्स को पानी में फेंक दिया। हालांकि, इन पैकेट्स को बरामद कर लिया गया। जब इनकी जांच की गई, तो उनमें मेथमफेटामाइन (ICE) मिला, जो कि एक अत्यधिक नशीला पदार्थ है और अंतरराष्ट्रीय ड्रग तस्करी में बेहद ऊंची कीमत पर बेचा जाता है।

नाव पर पकड़े गए आरोपी
इस ऑपरेशन में पांच लोगों को हिरासत में लिया गया है, जो नाव पर सवार थे। प्रारंभिक पूछताछ में पता चला है कि ये सभी पाकिस्तानी नागरिक हैं और अंतरराष्ट्रीय ड्रग सिंडिकेट का हिस्सा हैं। इनके पास से सैटेलाइट फोन, नेविगेशन उपकरण और अन्य संदिग्ध दस्तावेज भी बरामद किए गए हैं।
पिछली घटनाओं से जुड़ाव
यह कोई पहली बार नहीं है जब समुद्री रास्ते से ड्रग्स भारत लाने की कोशिश की गई हो। पिछले एक साल में गुजरात के तट पर कई बार भारी मात्रा में हेरोइन और मेथमफेटामाइन की बरामदगी हो चुकी है। माना जा रहा है कि पाकिस्तान और अफगानिस्तान से चलने वाला ड्रग नेटवर्क, समुद्र के रास्ते दक्षिण भारत और पश्चिम भारत तक अपने जाल को फैलाने की कोशिश कर रहा है।
राष्ट्रीय सुरक्षा पर चिंता
यह बरामदगी न केवल ड्रग तस्करी के खिलाफ बड़ी सफलता है, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा के लिहाज से भी एक अहम चेतावनी है। जिस तरह से ड्रग्स की आपूर्ति समुद्री रास्तों से की जा रही है, वह भारत की तटीय सुरक्षा पर गंभीर सवाल उठाता है।
जांच जारी, अंतरराष्ट्रीय कनेक्शन की पड़ताल
गुजरात एटीएस और कोस्ट गार्ड अब इस मामले की गहराई से जांच कर रहे हैं। पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ के ज़रिए ड्रग नेटवर्क के पीछे के मास्टरमाइंड और उनके भारतीय संपर्कों तक पहुंचने की कोशिश की जा रही है। सूत्रों के मुताबिक, इस तस्करी का संबंध अफगानिस्तान-पाकिस्तान के बॉर्डर इलाकों में सक्रिय नार्को-टेरर ग्रुप्स से भी हो सकता है।