भारतीय जनता पार्टी (BJP) के नवनियुक्त प्रदेश अध्यक्ष हेमंत खंडेलवाल 7 जुलाई को अपने पहले इंदौर दौरे पर आ रहे हैं। इस अवसर पर शहर भर में स्वागत की तैयारियां शुरू हो गई हैं, लेकिन इस बार पार्टी ने बड़ा फैसला लेते हुए रैली न निकालने का निर्णय लिया है, ताकि आम जनता को असुविधा न हो।
बैठक में लिए गए अहम निर्णय
शुक्रवार को इंदौर स्थित बीजेपी कार्यालय में एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई, जिसमें प्रदेश अध्यक्ष के आगमन को लेकर कार्ययोजना बनाई गई।
- कोई बड़ी रैली नहीं निकाली जाएगी, ताकि यातायात बाधित न हो।
- कार्यक्रम गरिमामय होगा, जिससे पार्टी की सकारात्मक छवि बनी रहे।
- 5 जुलाई को सभी विधानसभाओं में बैठकें आयोजित होंगी, जिससे समन्वय बना रहे।
इंदौर के कार्यकर्ताओं से हाई लेवल उम्मीदें
संभाग प्रभारी राघवेंद्र गौतम ने कहा कि इंदौर भाजपा कार्यकर्ताओं ने हमेशा शानदार आयोजन किए हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि यह कार्यक्रम भी पूरे प्रदेश के लिए मिसाल बनेगा।
विधायक तेज बहादुर चौहान ने कहा कि पार्टी में हर कार्यकर्ता को अवसर मिलता है। यह आयोजन कार्यकर्ताओं की ऊर्जा और एकता का प्रतीक बनेगा।
नगर अध्यक्ष सुमित मिश्रा ने बताया कि खंडेलवाल जी सबसे पहले खजराना गणेश मंदिर में दर्शन करेंगे, फिर राऊ विधानसभा क्षेत्र के बंदी छोड़ गुरुद्वारा में मत्था टेकेंगे।
शुभकारज गार्डन में होगा मुख्य आयोजन
खंडेलवाल के स्वागत के लिए इंदौर के शुभकारज गार्डन में एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया है।
इसमें शामिल होंगे:
- बूथ स्तर के त्रिदेव
- शक्ति केंद्र की टीमें
- मंडल, नगर और प्रदेश स्तर के पदाधिकारी और कार्यकर्ता
सभी विधानसभा क्षेत्रों में कार्यक्रम को लेकर 5 जुलाई को अलग-अलग बैठकें की जाएंगी। पार्टी ने कार्यक्रम के सफल संचालन हेतु वरिष्ठ नेताओं को जिम्मेदारी सौंपी है।
खंडेलवाल के सामने होगा ‘शक्ति प्रदर्शन’
यह पहला मौका होगा जब भाजपा नेता हेमंत खंडेलवाल के सामने अपनी राजनीतिक ताकत दिखाने की कोशिश करेंगे।
- खंडेलवाल के नेतृत्व में नगर निगम में एल्डरमैन की नियुक्ति,
- निगम-मंडल में पदस्थापन,
- प्रदेश और शहर इकाई के पुनर्गठन जैसे अहम फैसले होने हैं।
ऐसे में जो भी नेता संगठन में अहम भूमिका चाहते हैं, वे इस कार्यक्रम में अपनी उपस्थिति और प्रभाव का प्रदर्शन करने का अवसर नहीं चूकेंगे।
खंडेलवाल का इंदौर दौरा न केवल स्वागत का कार्यक्रम है, बल्कि यह भाजपा संगठन की नई दिशा और नेतृत्व को लेकर भी कई संकेत देने वाला अवसर है। पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं के लिए यह राजनीतिक सक्रियता और संगठनात्मक प्रतिबद्धता दिखाने का सही वक्त है।