प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 21 से 23 सितंबर तक अमेरिका की यात्रा पर रहेंगे, उसके पहले अमेरिका के कोर्ट ने भारत सरकार के शीर्ष अधिकारियों को समन भेजा है। जिसमें राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल और पूर्व रॉय चीफ सामंत गोयल का नाम भी शामिल है। यह समन खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू के हत्या के प्रयास मामले में किया गया है। इस पर विदेश मंत्रालय ने भी प्रतिक्रिया व्यक्त की है।
इस पर विदेश मंत्रालय ने बताया कि ये मामला पूरी तरह से अनुचित और सरकार की नीति के खिलाफ है। इस मामले की गंभीरता से जांच की जाएगी। सभी पहलुओं पर बहुत बारीकी से नजर रखी जा रही है।
विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने कहा कि, ‘ये आरोप पूरी तरह से निराधार है। इस केस से हमारे विचार में किसी भी तरह का कोई बदलाव नहीं होगा। इस केस को दायर करने वाला शख्स एक गैर कानूनी संगठन का प्रतिनिधित्व करता है। उस पर खुद UAPA के तहत मामला दर्ज है, क्योंकि कट्टरपंथी सिख फॉर जस्टिस का प्रमुख पन्नू भारतीय नेताओं और संस्थाओं के खिलाफ भड़काऊ भाषण और धमकियां देता था’
विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने बताया कि पीएम मोदी कई विदेशी साझेदारों से बातचीत करेंगे। वे अमेरिका में बड़ी संख्या में भारतीय प्रवासियों से बातचीत करेंगे। इस दौरान कई व्यापारिक और उद्योग जगत के नेताओं से भी मुलाकात होगी। प्रधानमंत्री का पहला पड़ाव डेलावेयर में विलमिंगटन होगा, जो राष्ट्रपति बाइडन का गृहनगर है। यहीं पर 6वां क्वाड शिखर सम्मेलन भी आयोजित किया जाएगा। विलमिंगटन से प्रधानमंत्री संयुक्त राष्ट्र में सम्मेलन में भाग लेने के लिए न्यूयॉर्क जाएंगे। यहां वे ‘समिट आफ द फ्यूचर’ को संबोधित करेंगे। वे 22 तारीख को भारतीय प्रवासियों से बातचीत करेंगे। भारत 2025 में अगले क्वाड नेताओं के शिखर सम्मेलन की मेजबानी करेगा।