Dharmavaram: मध्य प्रदेश की डॉ. मोहन यादव सरकार को एक और मोर्चे पर बड़ी कामयाबी मिली है, मध्य प्रदेश अब नक्सली समस्या से मुक्त हो गया है, सीएम डॉ. मोहन यादव के निर्देश पर पुलिस और सुरक्षाबलों ने अभियान चलाकर लाल आतंक का खात्मा कर दिया है… मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने इस कामयाबी पर पुलिस और सुरक्षाबल के जवानों को बधाई दी है और इसके साथ ही पीएम मोदी और गृह मंत्री अमित शाह का आभार भी जताया है, इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने एंटी नक्सल ऑपरेशन में शहादत देने वाले जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित की है।
Dharmavaram: नक्सलमुक्त हुआ मध्यप्रदेश
42 दिन में 42 नक्सलियों का सरेंडर
CM डॉ. मोहन यादव ने पुलिस को दी बधाई
लाल सलाम को आखिरी सलाम – CM
मध्यप्रदेश में नक्सलवाद का अंत हो गया है…सरकार का दावा है कि मध्यप्रदेश में अब एक भी नक्सली नहीं बचा है..सीएम डॉ. मोहन यादव ने खुद ये दावा किया है..,सीएम हाउस में प्रेस कॉन्फ्रेस कर उन्होंने जानाकारी दी..सीएम ने इस मौके पर कहा-लाल सलाम को मध्यप्रदेश में लाल सलाम। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर पीएम मोदी और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह का आभार जताते हुए कहा कि केन्द्र सरकार के सहयोग और मार्गदर्शन से ये कामयाबी से मिली है। मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने नक्सल इलाकों में शहीद हुए सुरक्षा बलों और पुलिस के जवानों को श्रद्धांजलि देते हुए बताया कि..
मध्यप्रदेश में नक्सलवाद के अभियान पर पूर्ण विराम : CM@DrMohanYadav51 @mohdept #CMMadhyaPradesh pic.twitter.com/pH6fjVLsva
— Chief Minister, MP (@CMMadhyaPradesh) December 11, 2025
लाल सलाम को आखिरी सलाम
42 दिन में 42 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया
कई इनामी नक्सलियों ने पुलिस के सामने डाले हथियार
करोड़ों के इनामी नक्सलियों ने किया सरेंडर
कई आधुनिक हथियार पुलिस ने किए जब्त
केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने मार्च 2026 तक छत्तीसगढ़ से नक्सलवाद के खात्मे का ऐलान किया है..मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के निर्देश पर मध्यप्रदेश में भी पुलिस नक्सलवाद को जड़ से मिटाने की मुहिम चला रही थी.पुलिस के इसी ऑपरेशन के बाद नक्सली घुटनों पर आ गए..इसी महीने 6 दिसंबर को कान्हा भोरमदेव डिवीजन के कबीर सहित 10 नक्सलियों ने हथियार डाले थे… इसमें दो नक्सली बच गए थे, जिनकी तलाश चल रही थी.. 7 दिसंबर को मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र और छत्तीसगढ़ जोन के प्रभारी रामदेर मज्जी ने भी अपने 11 साथियों के साथ छत्तीसगढ़ के बकरकट्टा में आत्मसमर्पण कर दिया था.. इसके बाद मलाजखंड दलम से जुड़े दीपक और रोहित ने त CRPF कैंप में पहुंचकर समर्पण किया..इस तरह मध्यप्रदेश अब नक्सलविहीन हो चुका है।





