लोकेशन: बेमेतरा
रिपोर्टर: संजू जैन
खाद‑बीज की मांग को लेकर ज़ोरदार प्रदर्शन
मुद्दा और प्रदर्शन का कारण
बेमेतरा जिला कृषि प्रधान है, जहां किसानों की मुख्य फसलें धान, सोयाबीन और सब्जियाँ हैं। खरीफ मौसम में डीएपी जैसे उपभोक्ता खाद और बीज किसानों की सबसे ज़रूरी जरूरत होती है। लेकिन सेवा सहकारी समिति में किसानों को खाद‑बीज उपलब्ध नहीं होने पर जिला कांग्रेस कमेटी और शहर अध्यक्ष ने समिति का घेराव और धरना प्रदर्शन किया।
प्रदर्शन की प्रमुख बातें
- कांग्रेस नेता: जिला अध्यक्ष आशीष छाबड़ा के निर्देश पर, शहर अध्यक्ष सुमन गोस्वामी ने किसानों का नेतृत्व किया।
- घेराव समय: किसानों ने एक दिवसीय धरना देकर विरोध दर्ज किया।
- दोषपूर्ण प्रबंधन: किसानों ने आरोप लगाया कि खरीफ शुरू होने के बावजूद समिति ने ना तो खाद दी और ना ही बीज उपलब्ध कराए। “धोखे में रखा गया — समिति में नहीं मिलता डीएपी खाद, मार्केट में 2 000 रुपये प्रति बोरी मिलने को मजबूर होना पड़ा।”
ज्ञापन सौंपा गया
प्रदर्शन के दौरान कलेक्टर के नाम समिति प्रबंधक को ज्ञापन सौंपकर किसानों की मांगें लिखित रूप में प्रस्तुत की गईं:
- तत्काल खाद‑बीज की आपूर्ति सुनिश्चित की जाए।
- कीमतों में बढ़ोतरी से किसानों को राहत दी जाए।
- भविष्य में ऐसी आपूर्ति बाधाओं को रोकने हेतु मजबूत योजना बनाई जाए।
संदर्भ और पूर्व घटनाओं
- पिछले साल जून 2024 में भी बेमेतरा की सहकारी समितियों में खाद‑बीज की कमी को लेकर किसानों ने उग्र आंदोलन किया था। तब कांग्रेस नेता कृष्णा राठी ने चेतावनी दी थी कि यदि समस्याएँ समय पर ना सुलझीं, तो आंदोलन होगा।
- हाल ही में सैगोना समिति में 800 बोरी खाद की चोरी का खुलासा हुआ, जिसमें लगभग 6 लाख रुपये का वित्तीय गबन पाया गया। ऑडिट रिपोर्ट पर कार्रवाई ज़रूरी है — यह मामला किसानों की आपूर्ति में लगातार व्यवधान की ओर इशारा करता है।
- प्रशासन का रुख़
- जिला प्रशासन पर किसान दबाव बना रहे हैं, लेकिन अभी तक प्रतिक्रिया और निर्णय सार्वजनिक नहीं किया गया।
- कांग्रेस द्वारा ज्ञापन सौंपने के बाद, आगामी दिनों में खाद‑बीज आपूर्ति में सुधार की मांग बढ़ने की संभावना है।