धनबाद, कन्हैया कुमार।
झारखंड में निकाय चुनाव की तैयारियों ने जोर पकड़ लिया है। इसी कड़ी में राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष जानकी यादव सोमवार को धनबाद पहुंचे। धनबाद सर्किट हाउस में उनका गर्मजोशी से स्वागत किया गया। उन्होंने मीडिया से बातचीत में बताया कि राज्य में निकाय चुनाव से पहले ट्रिपल टेस्ट प्रक्रिया तेजी से चल रही है, जिसके तहत आयोग 15 जिलों का तूफानी दौरा कर रहा है।
जानकी यादव ने कहा कि वार्डों का भौतिक सत्यापन किया जा रहा है। इस सत्यापन में अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) जातियों की संख्या और भागीदारी सहित कई महत्वपूर्ण पहलुओं पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। धनबाद में भी आयोग वार्डों का निरीक्षण करेगा और संबंधित अधिकारियों के साथ बैठकें कर स्थिति की समीक्षा करेगा।
उन्होंने बताया कि आयोग जल्द ही अपनी रिपोर्ट राज्य चुनाव आयोग को सौंप देगा। यह रिपोर्ट इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि इस बार के नगर निकाय चुनावों में ओबीसी वर्ग को आरक्षण दिया जाना है। ट्रिपल टेस्ट प्रक्रिया के जरिए यह तय किया जा रहा है कि आरक्षण का लाभ सही वर्गों को मिले।
जानकी यादव ने क्या कहा:
- “हेमंत सोरेन सरकार की मंशा स्पष्ट है कि राज्य के विकास कार्यों में कोई बाधा न आए। इसलिए नगर निकाय चुनाव अत्यंत जरूरी हैं।”
- “चुनाव ना होने के कारण कई विकास योजनाएं अटकी पड़ी हैं। आयोग पूरी जिम्मेदारी के साथ कार्य कर रहा है ताकि जल्द से जल्द निष्पक्ष और आरक्षित आधार पर चुनाव कराए जा सकें।”
क्या है ट्रिपल टेस्ट प्रक्रिया?
ट्रिपल टेस्ट प्रक्रिया एक संवैधानिक व्यवस्था है, जिसके तहत ओबीसी आरक्षण के लिए तीन स्तरों पर मूल्यांकन किया जाता है:
- ओबीसी जनसंख्या का डेटा
- पिछड़ेपन की स्थिति का आकलन
- स्थानीय निकायों में उनकी प्रतिनिधित्व की पर्याप्तता
इस प्रक्रिया के बाद ही चुनाव में ओबीसी आरक्षण लागू किया जा सकता है।
आगामी दिशा:
राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग की रिपोर्ट को आधार बनाकर राज्य चुनाव आयोग निकाय चुनाव की तारीखों की घोषणा करेगा। यदि सब कुछ समय पर हुआ, तो आने वाले कुछ महीनों में झारखंड में निकाय चुनाव संपन्न हो सकते हैं।
इस दौरे के साथ ही यह स्पष्ट हो गया है कि राज्य सरकार और आयोग निकाय चुनाव को लेकर गंभीर हैं और जल्द से जल्द लोकतांत्रिक प्रक्रिया को गति देने की दिशा में कार्यरत हैं।