BY: Yoganand Shrivastva
दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर और उत्तराखंड में लगातार तेज बारिश के कारण हालात गंभीर बने हुए हैं। पंजाब के सभी 23 जिलों में बाढ़ जैसे हालात हैं, जहां 1200 से अधिक गांव प्रभावित हुए हैं। अब तक इस आपदा में 30 लोगों की मौत हुई है और 3 लोग लापता हैं। सभी स्कूल और कॉलेज 7 सितंबर तक बंद रखने का फैसला किया गया है।
हरियाणा और दिल्ली में पानी का स्तर बढ़ा
हरियाणा के झज्जर, हिसार, यमुनानगर, कुरुक्षेत्र, अंबाला और पंचकूला में 3-5 फीट तक पानी भर गया है। अंबाला के निचले इलाकों में सैकड़ों घर जलमग्न हैं और यहां 200 से अधिक स्कूल बंद हैं।
हथिनीकुंड बैराज से 67 घंटे लगातार पानी छोड़े जाने के कारण यमुना नदी दिल्ली में खतरे के निशान (205 मीटर) से ऊपर 206.80 मीटर पर बह रही है। यमुना के आसपास के लोहे के पुल बंद कर दिए गए हैं। यमुना बाजार, तिब्बती बाजार और मोनेस्ट्री मार्केट पानी से प्रभावित हैं। दिल्ली के निचले इलाकों से लगभग 10,000 लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है।
राजस्थान और उत्तर प्रदेश में बारिश और बाढ़
जयपुर में तेज बारिश से एसएमएस अस्पताल में पानी भर गया है। कोटा में रेलवे ट्रैक पर लैंडस्लाइड हुई। उत्तर प्रदेश के नोएडा में यमुना के बढ़ते जलस्तर के कारण 1,000 फार्महाउस में पानी भर गया। मथुरा में करीब 900 परिवार प्रभावित हैं। आगरा में यमुना का पानी ताजमहल की बाउंड्री तक पहुंच गया और शहर के कई घाट एवं श्मशान घाट जलमग्न हैं।
हिमाचल प्रदेश में सड़कें बंद और जानमाल का नुकसान
हिमाचल प्रदेश में 1,300 से अधिक सड़कें बंद हैं। पिछले 24 घंटे में मकान गिरने और लैंडस्लाइड के कारण 11 लोगों की मौत हुई। कुल्लू में लैंडस्लाइड में 2 लोग मारे गए, जबकि मंडी के सुंदरनगर में दो घरों पर लैंडस्लाइड हुई। राज्य के सात जिलों में स्कूल और कॉलेज बंद किए गए हैं।
मध्य प्रदेश में बारिश का रिकॉर्ड
मध्य प्रदेश में अब तक 970.28 मिमी बारिश दर्ज की गई है, जो मौसम विभाग द्वारा तय सामान्य औसत 939.8 मिमी से अधिक है। इस वर्ष अब तक हुई बारिश पिछले मानसूनी सीजन की औसत 1117.6 मिमी के करीब है।