केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार को विपक्षी गठबंधन महा विकास अघाड़ी (एमवीए) पर तीखा हमला किया और इसे ‘औरंगजेब फैन क्लब’ करार दिया। शाह ने शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे पर भी निशाना साधा और उन्हें इस ‘क्लब’ का नेता करार दिया। पुणे में भाजपा के राज्य सम्मेलन में बोलते हुए अमित शाह ने महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पर 26/11 आतंकी हमले के दोषी अजमल कसाब को ‘बिरयानी’ परोसने वालों के साथ गठबंधन करने का आरोप लगाया। शाह ने यह भी कहा कि ठाकरे उन लोगों के साथ बैठे थे जो 1993 के मुंबई सीरियल ब्लास्ट के दोषी याकूब मेमन के लिए क्षमादान मांग रहे थे।
औरंगजेब के प्रशंसक कौन हैं?
शाह ने कहा, “औरंगजेब के प्रशंसक कौन हैं? जो कसाब को बिरयानी खिलाते हैं, जो याकूब मेमन के लिए क्षमादान मांगते हैं, जो (विवादित इस्लामी उपदेशक) जाकिर नाइक को शांति दूत पुरस्कार देते हैं और जो (प्रतिबंधित इस्लामी संगठन) पीएफआई का समर्थन करते हैं। उद्धव ठाकरे को इन लोगों के साथ बैठने में शर्म आनी चाहिए।” अपने भाषण में आगे केंद्रीय गृह मंत्री ने विपक्षी दिग्गज और एनसीपी (सपा) प्रमुख शरद पवार पर भी निशाना साधा और उन्हें “भ्रष्टाचार का सरगना” बताया।
वे गलतफहमियां फैलाकर चुनाव जीतना चाहते हैं
वरिष्ठ भाजपा नेता ने कहा, “वे गलतफहमियां फैलाकर चुनाव जीतना चाहते हैं। वे भ्रष्टाचार की बात करते हैं, लेकिन भारतीय राजनीति में भ्रष्टाचार के सबसे बड़े नेता शरद पवार हैं और जब मैं यह कहता हूं तो मुझे कोई भ्रम नहीं होता। शरद पवार ने इस देश की कई सरकारों में भ्रष्टाचार को संस्थागत रूप दिया।”
राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए अमित शाह ने दावा किया कि महाराष्ट्र, झारखंड और हरियाणा में आगामी विधानसभा चुनावों के बाद कांग्रेस नेता का अहंकार परास्त हो जाएगा, क्योंकि भारत के लोगों ने हाल के लोकसभा चुनावों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपनी स्वीकृति दी है।
महाराष्ट्र विधानसभा को लेकर कही ये बात
भाजपा कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ाते हुए अमित शाह ने कहा कि उन्हें महाराष्ट्र में लोकसभा चुनाव परिणामों से निराश नहीं होना चाहिए (जहां पार्टी की सीटें 2019 में 23 से घटकर 2024 में नौ हो गई हैं), उन्होंने जोर देकर कहा कि वे सरकार के अच्छे काम और कल्याणकारी योजनाओं को लोगों तक पहुंचाकर आगामी विधानसभा चुनावों में वापसी कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा के नेतृत्व वाला गठबंधन आगामी महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में 2019 और 2014 की तुलना में बेहतर प्रदर्शन करेगा।