Isa Ahmad
जनपद सोनभद्र के ओबरा थाना अंतर्गत बिल्ली मारकुंडी स्थित कृष्णा माइंस में शनिवार को एक बड़ा हादसा उस समय हो गया जब पहाड़ी को तोड़ने के दौरान अचानक एक भारी चट्टान टूटकर नीचे गिर पड़ी। इस दुर्घटना में दो मजदूरों की मौत हो गई, जबकि दर्जनों मजदूरों के मलबे में दबे होने की आशंका बनी हुई है। घटना की विशेष बात यह रही कि हादसा उस समय हुआ जब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कुछ ही दूरी पर आदिवासी जनजाति बिरसा मुंडा के गौरव दिवस कार्यक्रम में शामिल होकर जनता को संबोधित कर रहे थे और 548 करोड़ रुपये की विकास परियोजनाओं का शिलान्यास कर रहे थे। हादसे की जानकारी अधिकारियों को देर से मिली, जिसके बाद जिलाधिकारी और पुलिस कप्तान मौके पर पहुंचे और तुरंत एनडीआरएफ तथा एसडीआरएफ की टीमों को बुलाकर रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कराया गया।
लगातार 24 घंटे से अधिक समय से बचाव कार्य जारी है, लेकिन मलबा इतना भारी है कि अभी तक दबे हुए अन्य मजदूरों तक पहुंच बनाना रेस्क्यू टीम के लिए चुनौती बना हुआ है। फिलहाल दो मजदूरों के शव बरामद किए जा चुके हैं। घटना के बाद समाज कल्याण राज्य मंत्री संजीव गौड़ मौके पर पहुंचे और हादसे से भावुक होकर उन्होंने कहा कि मृतकों और घायलों के परिजनों को अधिकतम मुआवजा उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने यह भी सवाल उठाया कि मुख्यमंत्री के आगमन को देखते हुए सभी माइंस को तीन दिनों के लिए बंद रखने का निर्देश दिया गया था, ऐसे में यह माइंस किसके आदेश पर चालू की गई, इसकी जांच आवश्यक है।
सोनभद्र एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया कि घटना की जानकारी मिलते ही एडीजी बनारस, आईजी और मिर्जापुर कमिश्नर तुरंत मौके पर पहुंच गए थे। प्रारंभिक जांच के आधार पर कृष्णा माइंस के संचालक सहित तीन लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। प्रशासन अब यह पता लगाने में जुटा है कि बंदी के निर्देश के बावजूद माइंस में कार्य क्यों जारी था। पूरे क्षेत्र में इस हादसे को लेकर गहरा आक्रोश और चिंता का माहौल है, जबकि रेस्क्यू टीम अभी भी दबे मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकालने के प्रयासों में जुटी हुई है।





