Mohit Jain
पहाड़ों से आ रही बर्फीली हवाओं ने पूरे मध्यप्रदेश को ठिठुरा दिया है। नवंबर के पहले ही हफ्ते में प्रदेश में ठंड ने रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। राजगढ़ का तापमान 7.4 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया, जबकि भोपाल और इंदौर में पारा 10 डिग्री से नीचे दर्ज हुआ। मौसम विभाग ने 9 और 10 नवंबर को प्रदेश के कई जिलों में कोल्ड वेव (शीतलहर) का अलर्ट जारी किया है।

राजगढ़ में सबसे ज्यादा गिरा पारा, पचमढ़ी से भी ठंडा रहा मौसम\
राजगढ़ लगातार दूसरी रात प्रदेश का सबसे ठंडा जिला रहा। यहां न्यूनतम तापमान 7.4 डिग्री दर्ज किया गया। रीवा में 9.6 डिग्री, रायसेन में 10 डिग्री, गुना में 11.2 डिग्री और सागर में 11.6 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज हुआ।
यहां तक कि राजगढ़ का तापमान पचमढ़ी (15.4 डिग्री) से भी कम रहा, जो आमतौर पर मध्यप्रदेश का सबसे ठंडा इलाका माना जाता है।
इंदौर में टूटा 25 साल का रिकॉर्ड, भोपाल में भी पारा 8.4 डिग्री पर

इंदौर में इस बार नवंबर की ठंड ने पिछले 25 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया। शहर में रात का तापमान 8.4 डिग्री तक गिर गया।
भोपाल में भी पारा 10 साल में दूसरा सबसे कम दर्ज हुआ। ग्वालियर, उज्जैन, जबलपुर और सीहोर जैसे जिलों में भी तापमान सामान्य से 4 से 6 डिग्री नीचे चला गया।
मौसम विभाग ने भोपाल, इंदौर, उज्जैन, राजगढ़, शाजापुर, सीहोर, देवास, ग्वालियर, मुरैना, रीवा, पन्ना और टीकमगढ़ में शीतलहर चलने की चेतावनी जारी की है।
विशेषज्ञों के अनुसार, आने वाले 48 घंटे तक उत्तर भारत से आने वाली ठंडी हवाएं प्रदेश में ठिठुरन बनाए रखेंगी।





