भोपाल। मध्यप्रदेश में औद्योगिक विकास और रोजगार के अवसरों को तेजी से बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने एक और बड़ा कदम उठाया है। सीएम ने रविवार को गुजरात के सूरत में आयोजित इंटरैक्टिव सेशन के दौरान ऐलान किया कि अहमदाबाद में मध्यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम (MPIDC) का नया कार्यालय खोला जाएगा। इसका मकसद गुजरात के उद्योगपतियों के लिए मध्यप्रदेश में निवेश प्रक्रिया को सरल और सुविधाजनक बनाना है।
15,710 करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव, 11,250 से ज्यादा रोजगार की उम्मीद
सूरत में आयोजित इस सेशन में उद्योग जगत से जुड़ी दिग्गज कंपनियों ने मध्यप्रदेश में निवेश में गहरी रुचि दिखाई। कुल 15,710 करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव मिले हैं, जिनसे 11,250 से अधिक लोगों को रोजगार मिलने की संभावना है। मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार उद्योग-व्यापार से जुड़ी सभी प्रक्रियाओं को सरल, पारदर्शी और समयबद्ध बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।
क्यों अहमदाबाद में खोला जा रहा MPIDC का कार्यालय?
सीएम मोहन यादव ने कहा, “गुजरात के उद्योगपतियों ने देश-दुनिया में अपनी एक अलग पहचान बनाई है। उनकी प्रबंधन क्षमता और व्यापारिक दृष्टिकोण की मिसाल दी जाती है। ऐसे में मध्यप्रदेश में निवेश को आकर्षित करने के लिए गुजरात के व्यापारिक समुदाय से सीधा संवाद बेहद जरूरी है।”
उन्होंने कहा कि औद्योगिक विकास को रफ्तार देने के लिए सरकार न केवल नीतिगत सुधार कर रही है, बल्कि निवेशकों को राज्य में व्यवसाय करने में किसी प्रकार की बाधा न आए, इसका पूरा ध्यान रखा जा रहा है।
MP में निवेश और रोजगार बढ़ाने की सरकार की रणनीति
मुख्यमंत्री ने बताया कि 2025 को “उद्योग एवं रोजगार वर्ष” के रूप में मनाया जा रहा है। राज्य में भारी उद्योग, MSME, कुटीर एवं लघु उद्योग तेजी से विकसित हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश में—
- 39% कृषि विकास दर
- विविध औद्योगिक क्षमताएं
- योग्य मानव संसाधन
- समृद्ध खनिज भंडार
जैसे कारकों के कारण राज्य सभी औद्योगिक सेक्टर के लिए आदर्श गंतव्य बन रहा है।
प्रमुख निवेश प्रस्ताव जिन पर बनी सहमति
सूरत में आयोजित इंटरैक्टिव सेशन में कई कंपनियों ने मध्यप्रदेश में निवेश करने का भरोसा जताया। आइए नजर डालते हैं इन प्रस्तावों पर:
कंपनी का नाम | सेक्टर | प्रस्तावित निवेश | अनुमानित रोजगार |
---|---|---|---|
डिटॉक्स कॉर्पोरेशन प्रा. लि. | पर्यावरण | ₹7,500 करोड़ | 7,000 |
केपी ग्रुप/केपीआई ग्रीन एनर्जी लि. | नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाएं | ₹6,500 करोड़ | 1,500 |
मिलेनियम बेबीकेयर और केयरफिट इंडस्ट्रीज | टेक्सटाइल एवं तकनीकी टेक्सटाइल | ₹600 करोड़ | 900 |
जनरल पॉलीफिल्म्स प्रा. लि. | टेक्सटाइल | ₹600 करोड़ | 600 |
हच्छे ग्रुप | नवीकरणीय ऊर्जा, रबर, अपशिष्ट प्रबंधन | ₹200 करोड़ | 400 |
स्टीम हाउस इंडिया लि. | औद्योगिक गैस आपूर्ति | ₹125 करोड़ | 500 |
श्री जगदंबा पॉलीमर लि. | तकनीकी टेक्सटाइल | ₹100 करोड़ | 300 |
जीएमटी पैकर्स प्रा. लि. | तुलसी चाय उत्पादन | ₹85 करोड़ | 500 |
टेक्सटाइल, फार्मा, इंजीनियरिंग और जेम्स-ज्वैलरी पर सरकार का फोकस
इस इंटरैक्टिव सेशन के दौरान मुख्यमंत्री ने टेक्सटाइल, केमिकल, फार्मा, इंजीनियरिंग और जेम्स-ज्वैलरी सेक्टर की 18 से अधिक कंपनियों के वरिष्ठ अधिकारियों से वन-टू-वन चर्चा की। उन्होंने निवेशकों को मध्यप्रदेश की नीतिगत पारदर्शिता, बेहतर अधोसंरचना और व्यवसायिक अवसरों के बारे में विस्तार से बताया।
सब्सिडी सीधे बैंक खाते में
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने यह सुनिश्चित किया है कि सब्सिडी की राशि डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (DBT) के जरिए सीधे लाभार्थियों के बैंक खातों में पहुंचे। सरकार छोटे और बड़े कारोबारियों को उनका हक तेजी से दिलाने के लिए पूरी तरह संकल्पित है।
निष्कर्ष: मध्यप्रदेश तेजी से उभरता निवेश गंतव्य
गुजरात के बाद अब मध्यप्रदेश देश का अगला औद्योगिक हब बनने की दिशा में कदम बढ़ा रहा है। नए निवेश प्रस्ताव और अहमदाबाद में MPIDC कार्यालय की स्थापना से राज्य में उद्योग और रोजगार दोनों को नई रफ्तार मिलने की उम्मीद है।