कोलकाता:
पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले में वक्फ (संशोधन) अधिनियम 2025 के खिलाफ हिंसक प्रदर्शनों के बीच तीन लोगों की मौत हो गई। पुलिस के अनुसार, शुक्रवार को मुस्लिम बहुल इलाकों में भड़की हिंसा के संबंध में अब तक 118 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून एवं व्यवस्था) जावेद शमीम ने बताया कि मृतकों में दो की मौत झड़पों में हुई, जबकि एक व्यक्ति गोलीबारी में घायल होने के बाद चल बसा।
कलकत्ता हाईकोर्ट का हस्तक्षेप, केंद्रीय बलों की तैनाती
कलकत्ता हाईकोर्ट की एक विशेष पीठ ने जंगीपुर में केंद्रीय सुरक्षा बलों की तैनाती का आदेश दिया। इसके बाद केंद्रीय गृह सचिव गोविंद मोहन ने पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव और डीजीपी के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग की।
डीजीपी ने बताया कि स्थिति तनावपूर्ण है, लेकिन नियंत्रण में है। केंद्र ने राज्य सरकार के अनुरोध पर मुर्शिदाबाद में पहले से तैनात 300 BSF जवानों के अलावा 5 और कंपनियाँ भेजी हैं।
ममता बनर्जी का बयान: “वक्फ कानून लागू नहीं होगा”
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने स्पष्ट किया कि उनकी सरकार इस कानून को लागू नहीं करेगी। उन्होंने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर पोस्ट करते हुए कहा –
“हमने इस मुद्दे पर अपना रुख स्पष्ट कर दिया है – हम इस कानून का समर्थन नहीं करते। यह कानून हमारे राज्य में लागू नहीं होगा। फिर यह दंगे क्यों?”
उन्होंने शांति की अपील करते हुए चेतावनी दी कि धर्म के नाम पर हिंसा भड़काने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप
- तृणमूल कांग्रेस के सांसद अभिषेक बनर्जी ने आरोप लगाया कि कुछ ताकतें “बंगाल में अशांति फैलाना चाहती हैं”।
- भाजपा नेता सुकांत मजूमदार ने कहा कि अगर उनकी सरकार बनती है, तो ऐसी हिंसा को “5 मिनट में कुचल दिया जाएगा”।
- कांग्रेस के रशीद अलवी ने केंद्र सरकार पर धार्मिक मामलों में दखल देने का आरोप लगाया।
वक्फ (संशोधन) अधिनियम क्या है?
इस विधेयक को 2 और 3 अप्रैल को क्रमशः लोकसभा और राज्यसभा में पारित किया गया था। 5 अप्रैल को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने इसे मंजूरी दे दी। विपक्ष इसका विरोध कर रहा है, जबकि भाजपा 20 अप्रैल से 5 मई तक “वक्फ सुधार जागरूकता अभियान” चलाएगी।
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