नगरीय निकाय चुनाव को लेकर प्रदेश कांग्रेस पार्टी ने लम्बी चर्चा के बाद अपने प्रत्याशी की घोषणा कर दी है। कांग्रेस पार्टी ने गरियाबंद में नगर पालिका अध्यक्ष के लिए गैंद लाल सिन्हा को अपना प्रत्याशी बनाया है, कांग्रेस के प्रत्याशी गैंद लाल सिन्हा एक प्रतिष्ठित व्यापारी हैं, साथ ही अपने सिन्हा समाज के मंडलेश्वर के पद पर आसीन हैं। चुनाव मात्र 15 दिन ही शेष बचा हैं, ऐसे में अब बीजेपी और कांग्रेस के बीच प्रतिष्ठा की लड़ाई बन गई है। कांग्रेस और बीजेपी के उम्मीदवारों के बीच कांटे की टक्कर होनी तय है।

पंचायत चुनाव (ग्रामीण क्षेत्र):
- नॉमिनेशन की प्रक्रिया: 27 जनवरी से 3 फरवरी तक चलेगी।
- स्क्रूटनी और नाम का ऐलान: 4 फरवरी को स्क्रूटनी और 6 फरवरी को नामों की घोषणा होगी।
- मतदान: पंचायत चुनाव में 17, 20 और 23 फरवरी को होगा।
- मतगणना: 18, 20 और 24 फरवरी को होगी।
कुल निकाय और मतदान केंद्रों की जानकारी:
छत्तीसगढ़ में कुल 184 नगरीय निकाय हैं, जिनमें 14 नगर निगम, 48 नगर पालिका परिषद और 122 नगर पंचायत शामिल हैं। इस बार मतदान इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) से नगर निगम चुनाव के लिए और मतपेटी से पंचायत चुनाव के लिए होगा।
- मतदाता संख्या: 2019 के मुकाबले इस बार मतदाता संख्या में 12% से अधिक वृद्धि हुई है। नगरीय निकाय चुनाव में कुल 44,74,269 मतदाता, और पंचायत चुनाव में 1,58,12,580 मतदाता मतदान करेंगे।
- मतदान केंद्र: नगरीय निकाय चुनाव के लिए 5,970 मतदान केंद्र और पंचायत चुनाव के लिए 31,041 मतदान केंद्र निर्धारित किए गए हैं।
- संवेदनशील मतदान केंद्र: कुल 1531 संवेदनशील और 132 अतिसंवेदनशील मतदान केंद्र होंगे।
खर्च की सीमा और निगरानी:
महापौर और अध्यक्ष पद के उम्मीदवारों के लिए व्यय की सीमा निर्धारित की गई है:
- 5 लाख से अधिक आबादी वाले नगर निगम: 25 लाख रुपये तक खर्च कर सकते हैं।
- 3 से 5 लाख आबादी वाले नगर निगम: 20 लाख रुपये तक खर्च कर सकते हैं।
- आबादी 3 लाख से कम वाले नगर निगम: 15 लाख रुपये तक खर्च कर सकते हैं।
इन पदों पर उम्मीदवारों द्वारा खर्च की निगरानी के लिए निर्वाचन आयोग द्वारा विशेष निगरानी अधिकारी नियुक्त किए जाएंगे, जो चुनाव खर्च की जांच करेंगे।
11 फरवरी 2025 को छत्तीसगढ़ में नगरीय निकाय चुनाव
- नगर निगम- 10
- नगर पालिका- 49
- नगर पंचायत – 114
यह चुनाव छत्तीसगढ़ की राजनीति में महत्वपूर्ण बदलाव का कारण बन सकते हैं। मतदाता अपनी भागीदारी से राज्य के भविष्य को आकार देंगे। चुनाव के दौरान हर प्रक्रिया पारदर्शी और निष्पक्ष तरीके से संपन्न कराने की पूरी कोशिश की जाएगी।
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