BY: Yoganand Shrivastva
हाइलाइट्स
- भारत ने फिर दोहराया: कश्मीर मुद्दा द्विपक्षीय, तीसरे पक्ष की दखल मंजूर नहीं
- विदेश मंत्रालय का बयान: “भारत की नीति में कोई बदलाव नहीं”
- ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान के आतंकी ढांचे को भारी नुकसान
- भारत ने किया साफ: परमाणु ब्लैकमेल के आगे नहीं झुकेगा
- UNSC समेत विश्व समुदाय ने भारत के रुख का किया समर्थन
कश्मीर पर भारत की नीति: “नहीं चाहिए तीसरा पक्ष”
भारत ने एक बार फिर कश्मीर मुद्दे पर अपने स्पष्ट और सख्त रुख को दोहराया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि:
“जम्मू-कश्मीर से जुड़े सभी मुद्दे भारत और पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय रूप से सुलझाए जाएंगे। भारत की नीति में कोई बदलाव नहीं हुआ है।”
उन्होंने यह भी दोहराया कि कश्मीर भारत का अभिन्न हिस्सा है और पाकिस्तान के पास अवैध रूप से कब्जा किए गए क्षेत्रों को खाली करना ही एकमात्र लंबित मुद्दा है।
ऑपरेशन सिंदूर: आतंक के खिलाफ निर्णायक वार
प्रवक्ता ने बताया कि हाल ही में किए गए ऑपरेशन सिंदूर के तहत भारतीय सेना ने पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों को भारी नुकसान पहुंचाया। मुख्य बिंदु:
- बहावलपुर, मुरीदके, मुजफ्फराबाद समेत कई आतंकी अड्डे नष्ट
- पाकिस्तान की सैन्य क्षमताएं कमजोर, एयरबेस किए गए निष्क्रिय
- भारत ने यह संदेश साफ कर दिया कि आतंक को किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा
रणधीर जायसवाल ने कहा:
“अब एक नया नॉर्मल स्थापित हो चुका है। जितनी जल्दी पाकिस्तान इसे स्वीकार कर ले, उतना बेहतर होगा।”
परमाणु धमकी से भारत नहीं डिगेगा
पाकिस्तान की ओर से अप्रत्यक्ष परमाणु युद्ध की अटकलों को लेकर जायसवाल ने दो टूक कहा:
“भारत किसी परमाणु ब्लैकमेल के आगे नहीं झुकेगा। पाकिस्तान को यह भ्रम नहीं पालना चाहिए कि वह सीमा पार आतंकवाद को परमाणु हथियारों की आड़ में छिपा सकता है।”
उन्होंने कहा कि सैन्य कार्रवाई सीमित और केंद्रित क्षेत्र में की गई थी, और यह पूरी तरह नैतिक और वैधानिक अधिकार के तहत थी।
“सच्चाई देखें, सैटेलाइट तस्वीरें उपलब्ध हैं”
पाकिस्तान के दावों पर पलटवार करते हुए जायसवाल ने कहा:
“जो लोग सच्चाई जानना चाहते हैं, वे सार्वजनिक रूप से उपलब्ध सैटेलाइट तस्वीरों को देखें।
पाकिस्तान ने जिन जगहों पर हमला करने का दावा किया है, उन्हें देखें और फिर भारत की कार्रवाई की तुलना करें — अंतर खुद साफ हो जाएगा।”
पाकिस्तान आतंकवाद का समर्थन कर खुद को धोखा दे रहा है
प्रवक्ता ने पाक विदेश मंत्रालय के बयानों पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा:
“पाकिस्तान यह समझने में असफल है कि वह जिस आतंकवाद को समर्थन देता आया है, उसी की आग में वह खुद जल रहा है।
भारत ने जिन आतंकी ढांचों को नष्ट किया, वे न केवल भारतीय नागरिकों बल्कि वैश्विक नागरिकों के लिए खतरा थे।”
विश्व समुदाय का समर्थन: भारत को मिला नैतिक बल
- संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) ने 25 अप्रैल को जारी प्रेस वक्तव्य में आतंकवाद की निंदा की और अपराधियों को सजा दिलाने की मांग की।
- अमेरिका सहित कई देशों ने भारत के साथ बातचीत में माना कि आतंकवाद का केंद्र पाकिस्तान में है।
- इन देशों ने कहा कि भारत को अपने नागरिकों की सुरक्षा का पूरा अधिकार है।
भारत-अमेरिका चर्चा: व्यापार नहीं, सुरक्षा प्राथमिकता
रणधीर जायसवाल ने स्पष्ट किया कि 7 से 10 मई के बीच भारत और अमेरिका के नेताओं के बीच जो भी चर्चा हुई, उसमें:
- केवल सैन्य और रणनीतिक हालात पर बात हुई
- व्यापार से जुड़े किसी मुद्दे की चर्चा नहीं हुई
रूस-यूक्रेन युद्ध पर भारत की भूमिका
रूस-यूक्रेन विवाद पर भारत ने संतुलित रुख अपनाते हुए कहा:
“हम रूस द्वारा यूक्रेन के साथ सीधी बातचीत के प्रस्ताव का स्वागत करते हैं।
भारत लगातार शांति और संवाद के पक्ष में रहा है।”