दुनिया के सबसे प्रतिष्ठित पुरस्कारों में से एक गोल्डन ग्लोब अवॉर्ड 2025 की घोषणा हो गई है। 82वें गोल्ड ग्लोब अवॉर्ड, कैलिफोर्निया के बेवर्ली हिल्स में बेवर्ली हिल्टन में आयोजित हुआ, जहां विनर्स ने नाम अनाउंस हुए। सबसे ज्यादा नॉमिनेशन के साथ (कुल 10) ‘एमिलिया पेरेज’ आगे है, अन्य नॉमिनेशन में ‘द बियर’, ‘शोगुन’, ‘विकेड’ और ‘चैलेंजर्स’ शामिल हैं। भारत की एकमात्र आस पायल कपाड़िया की ‘ऑल वी इमेजिन एज लाइट’ अवॉर्ड जीतने से चूक गई है। इसकी जगह बेस्ट नॉन इंग्लिश फिल्म कैटेगरी में ‘एमिलिया पेरेज’ ने ट्रॉफी जीती है।
दो कैटेगरी में नॉमिनेट हुई थी पायल कपाड़िया की फिल्म
भारत में भी सभी की नजरें इस अवॉर्ड सेरेमनी पर टिकी हुई थीं, क्योंकि डायरेक्टर पायल कपाड़िया की फिल्म ‘ऑल वी इमेजिन एज लाइट’ को दो कैटेगरी में नॉमिनेशन मिला था। लेकिन भारतीय फैंस को झटका लगा है। ये फिल्म दोनों ही कैटेगरी से बाहर हो गई है। नॉन इंग्लिश कैटेगरी में फ्रांस की म्यूजिकल क्राइम कॉमेडी मूवी Emilia Perez ने बाजी मार ली है और बेस्ट डायरेक्टर का खिताब Brady Corbet ने जीता है।
कौन हैं पायल कपाड़िया?
पायल कपाड़िया का जन्म मुंबई में हुआ था। पायल की मां का नाम नलिनी मालानी हैं। पायल ने आंध्र प्रदेश के ऋषि वैली स्कूल से अपनी पढ़ाई पूरी की थी। इसके बाद पायल ने मुंबई के सेंट जेवियर्स कॉलेज से अर्थशास्त्र में ग्रेजुएशन पूरा किया। उन्होंने सोफिया कॉलेज से मास्टर डिग्री हासिल की। इसके बाद पायल कपाड़िया ने फिल्म एंड टेलीविजन इंस्टीट्यूट से निर्देशन के गुण सीखे। पायल कपाड़िया ने 2015 से 2018 तक भारतीय फिल्म एवं टेलीविजन संस्थान (FTII) से फिल्म निर्देशन की पढ़ाई की है। वह पहली बार अभिनेता से नेता बने गजेंद्र चौहान की FTII के अध्यक्ष के रूप में नियुक्ति के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के लिए चर्चा में आई थीं।
उनका फिल्मी करियर कब शुरू हुआ ?
साल 2017 में उनकी शॉर्ट फिल्म आफ्टरनून क्लाउड्स को कान के लिए चुना गया और FTII प्रशासन ने उनके एक अनुशासित कलाकार के रूप में परिवर्तन को स्वीकार करते हुए अपना समर्थन दिया। इस जरूरी कदम ने वैश्विक सिनेमा में उनके सफर की शुरुआत करने में उनकी मदद की थी।