BY: Yoganand Shrivastva
ग्वालियर, दुष्कर्म के गंभीर आरोपों का सामना कर रहे पूर्व तहसीलदार शत्रुघ्न सिंह चौहान को ग्वालियर जिला न्यायालय से अंतरिम राहत मिल गई है। कोर्ट ने उनके द्वारा दाखिल की गई जमानत याचिका को स्वीकार कर लिया है। चौहान ने तीन दिन पहले ही अदालत में आत्मसमर्पण किया था और जमानत की अर्जी पेश की थी।
क्या है मामला?
शत्रुघ्न सिंह चौहान पर एक 34 वर्षीय महिला ने शादी का झांसा देकर लंबे समय तक यौन शोषण करने का आरोप लगाया था। यह एफआईआर महिला थाने में 15 जनवरी 2025 को दर्ज कराई गई थी। महिला ने आरोप लगाया कि चौहान ने उसे वर्ष 2008 से 2025 तक अपनी पत्नी बनाकर रखा और कई बार दुष्कर्म किया।
एफआईआर के अनुसार, पीड़िता मूलतः भिंड की रहने वाली है। उसकी पहली शादी 2005-06 में हुई थी, लेकिन पति की मृत्यु के दो साल बाद 2008 में तहसीलदार चौहान का उसके घर आना-जाना शुरू हुआ। इसी दौरान चौहान ने महिला से संबंध बनाए और उसे शादी का झांसा दिया।
महिला का कहना है कि 10 अगस्त 2008 की रात भिंड के मानगढ़ गांव में उससे जबरन संबंध बनाए गए। इसके बाद तहसीलदार की जहां-जहां पोस्टिंग होती रही, वह महिला को वहीं अपने साथ रखता रहा।
पीड़िता ने दावा किया कि 2010 में चौहान ने रतनगढ़ माता मंदिर में सिंदूर भरकर प्रतीकात्मक रूप से शादी की थी। 2014 में महिला को एक पुत्र भी हुआ, जिसे उसने चौहान का ही बेटा बताया है। बाद में पता चला कि तहसीलदार पहले से तीन पत्नियों के पति हैं, जिससे विवाद शुरू हुआ और मामला दर्ज कराया गया।
फरारी और धार्मिक यात्राएं
एफआईआर दर्ज होने के बाद चौहान लगातार फरार हो गया। पुलिस ने उस पर ₹5,000 का इनाम भी घोषित किया था। इस दौरान उसने सुप्रीम कोर्ट सहित विभिन्न न्यायालयों में अग्रिम जमानत के प्रयास किए, लेकिन हर बार असफल रहा।
पूछताछ में चौहान ने बताया कि फरारी के दौरान वह प्रयागराज कुंभ में रुका और बाद में चारधाम यात्रा पर निकल गया। उसका कहना था कि वह मानसिक शांति की तलाश में धार्मिक स्थलों पर गया था।
अदालत में दी गई दलीलें और सबूत
चौहान के वकील ने कोर्ट में जो दलीलें और दस्तावेज प्रस्तुत किए, उनमें बताया गया कि पीड़िता पूर्व में अमित यादव नामक व्यक्ति की पत्नी थी, और जिस बच्चे को लेकर चौहान पर डीएनए का आरोप लगाया गया है, उसकी स्थिति स्पष्ट नहीं है।
इन तथ्यों और दस्तावेजों के आधार पर अदालत ने मामले की परिस्थितियों को देखते हुए जमानत याचिका को मंजूर कर लिया है। पुलिस ने भी कोर्ट को सूचित किया कि अब आरोपी से पूछताछ पूरी हो चुकी है, और फिलहाल किसी रिमांड की आवश्यकता नहीं है।