BY: Yoganand Shrivastva
उज्जैन: जिले के बड़नगर कोर्ट में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। यहां एक वकील ने कोर्ट फीस की रसीदों में हेराफेरी कर पांच लाख रुपए से अधिक की धोखाधड़ी की है। आरोपी की पहचान व्यास कॉलोनी निवासी वकील उज्जवल जोशी के रूप में हुई है।
थाना प्रभारी अशोक कुमार पाटीदार ने बताया कि जिला एवं सत्र न्यायालय के रीडर योगेश ठाकुर ने 10 नवंबर को पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी। जांच में खुलासा हुआ कि आरोपी वकील ने 2022 से 2025 के बीच दायर कई दीवानी मामलों में फर्जी कोर्ट फीस रसीदें बनाकर उन्हें अदालत में प्रस्तुत किया।
फर्जी रसीदों से लाखों की हेराफेरी
तफ्तीश में सामने आया कि उज्जवल जोशी हर केस में निर्धारित फीस से कम राशि जमा करता था और बाद में रसीद में एक जीरो जोड़कर रकम को बढ़ा देता था। उदाहरण के तौर पर, जहां 1 लाख रुपए फीस जमा करनी होती थी, वहां वह केवल 10 हजार रुपए जमा कर देता था और रसीद में इसे 1 लाख दिखा देता था। इस तरीके से उसने करीब 5 लाख 81 हजार 85 रुपए की धोखाधड़ी की।
आरोपी ने दूसरे की सनद पर की वकालत
जांच के दौरान यह भी खुलासा हुआ कि आरोपी जोशी की वकालत की सनद किसी अन्य व्यक्ति के नाम पर है। इसके बावजूद वह वर्षों से अदालत में केस लड़ रहा था।
कैसे दिया गया घोटाले को अंजाम
कोर्ट फीस जमा करने की प्रक्रिया पूरी तरह ऑनलाइन होती है, जिसमें पक्षकार का नाम, अदालत का नाम, फीस राशि, मोबाइल नंबर और ईमेल आईडी भरनी होती है। उज्जवल ने अपने मोबाइल नंबर और ईमेल से रसीदें बनाईं, जिससे ओटीपी सीधे उसके फोन पर आता था। यही वजह थी कि उसका यह फर्जीवाड़ा लंबे समय तक उजागर नहीं हो पाया।
अपराध स्वीकार करने के बाद खुला पूरा मामला
15 नवंबर 2025 को एक केस की सुनवाई के दौरान जब अदालत ने पाया कि जमा की गई फीस की रसीद फर्जी है, तो आरोपी से पूछताछ की गई। पूछताछ में उज्जवल ने अपनी गलती स्वीकार की और असली फीस के रूप में 2 लाख 80 हजार रुपए जमा कराए। इसके बाद कोर्ट ने उसके अन्य मामलों की जांच कराई, जिसमें और भी फर्जी रसीदें मिलीं।
पुलिस जांच जारी
फिलहाल पुलिस ने वकील उज्जवल जोशी के खिलाफ धोखाधड़ी और जालसाजी के तहत मामला दर्ज कर लिया है। कोर्ट ने उसकी वकालत पर भी जांच की सिफारिश की है। मामला सामने आने के बाद वकीलों के बीच भी इस घटना की चर्चा बनी हुई है।





