साहिबगंज जिले के भोगनाडी में स्थित सिद्धू-कान्हू की जन्मस्थली पर 30 जून को हुल दिवस के मौके पर हुई घटना को लेकर राजनीतिक माहौल गरमा गया है। इस घटना के विरोध में शुक्रवार को झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने देवघर के टावर चौक पर प्रदर्शन कर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का पुतला दहन किया और जोरदार नारेबाजी की।
बीजेपी पर साजिश रचने का आरोप
प्रदर्शन के दौरान झामुमो के जिला अध्यक्ष संजय शर्मा ने कहा कि 30 जून की घटना पूरी तरह से बीजेपी की सुनियोजित साजिश थी। उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी के इशारे पर जनजातीय भावनाओं को भड़काने की कोशिश की गई।
उन्होंने सवाल उठाया कि –
- 23 जून को पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन ने संघर्ष का जो आह्वान किया, वह किस प्रकार का संघर्ष था?
- मंडल मुर्मू के पास हथियार और गाड़ी कहां से आई?
- वहां पैसा, साड़ी और अन्य वस्तुएं किसने बांटी?
- आखिर किस मकसद से लोगों को भड़काया गया?
उच्च स्तरीय जांच की मांग
संजय शर्मा ने मांग की कि इस पूरी घटना की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए ताकि सच्चाई सामने आ सके और दोषियों को कड़ी सजा मिल सके। उन्होंने कहा कि यदि इस तरह की साजिशों को समय रहते रोका नहीं गया तो राज्य में अशांति फैल सकती है।
प्रदर्शन में शामिल रहे झामुमो कार्यकर्ता
पुतला दहन कार्यक्रम में दर्जनों झामुमो पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता मौजूद रहे, जिन्होंने भाजपा और उसके नेताओं के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। सभी ने एक सुर में कहा कि सिद्धू-कान्हू के बलिदान की भूमि पर किसी भी तरह की साजिश बर्दाश्त नहीं की जाएगी।