4 जून 2025 को बेंगलुरु में चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की विक्ट्री सेरेमनी के दौरान मची भगदड़ ने पूरे देश को झकझोर दिया। इस हादसे में 11 लोगों की जान चली गई और 50 से ज्यादा लोग घायल हुए। अब इस गंभीर मामले में भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) के लोकपाल ने एक्शन लिया है।
लोकपाल का हस्तक्षेप: चार हफ्ते में जवाब देने का निर्देश
BCCI लोकपाल और सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज जस्टिस अरुण मिश्रा ने RCB और कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ (KSCA) से लिखित जवाब मांगा है।
- शिकायतकर्ता विकास नामक व्यक्ति ने आरोप लगाया कि
- सेरेमनी में सुरक्षा के नियमों का उल्लंघन हुआ
- प्रशासनिक लापरवाही ने हादसे को जन्म दिया
- लोकपाल ने RCB और KSCA को जवाब दाखिल करने के लिए चार सप्ताह की समयसीमा दी है।
- मांग की गई है कि जब तक जांच पूरी नहीं होती, तब तक फ्रेंचाइज़ी को बेचना प्रतिबंधित किया जाए।
हादसे का कारण: अनियोजित आयोजन और सोशल मीडिया से फैली भीड़
इस केस की जांच में एक और बड़ी बात सामने आई:
- कार्यक्रम की पूर्व सूचना पुलिस को नहीं दी गई
- सोशल मीडिया पर अचानक पोस्ट से भीड़ जुटी
- अनुमानित 5 लाख लोग कार्यक्रम स्थल के आसपास इकट्ठा हो गए
- प्रशासन को भीड़ नियंत्रण का मौका ही नहीं मिला
CAT का फैसला: RCB जिम्मेदार, IPS अधिकारी बहाल
घटना के बाद सस्पेंड हुए सीनियर IPS विकास कुमार को सेंट्रल एडमिनिस्ट्रेटिव ट्रिब्यूनल (CAT) ने बहाल कर दिया।
CAT ने कहा:
“पुलिस कोई जादूगर नहीं होती। अगर उसे समय नहीं दिया गया, तो व्यवस्था की उम्मीद कैसे की जा सकती है?”
इसके साथ ही, ट्रिब्यूनल ने RCB को पूरे हादसे के लिए जिम्मेदार ठहराया।
बिजली कटी: स्टेडियम ने अग्निसुरक्षा नियमों का नहीं किया पालन
हादसे के कुछ दिन बाद एक और लापरवाही सामने आई:
- बैंगलोर इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई कंपनी लिमिटेड (BESCOM) ने स्टेडियम की बिजली काट दी
- कारण: अग्निशमन विभाग की मंजूरी न लेना
- कर्नाटक अग्निशमन विभाग ने BESCOM को बिजली काटने की सिफारिश की थी
जब तक चिन्नास्वामी स्टेडियम को अग्निसुरक्षा से जुड़ा सर्टिफिकेट नहीं मिल जाता, बिजली सप्लाई बहाल नहीं होगी।
हादसे ने खोली क्रिकेट आयोजनों की तैयारियों की पोल
बेंगलुरु भगदड़ न केवल एक मानवीय त्रासदी थी, बल्कि इससे यह भी उजागर हुआ कि बिना योजना और सुरक्षा के कोई भी बड़ा आयोजन कितना खतरनाक हो सकता है। अब BCCI लोकपाल के हस्तक्षेप से उम्मीद है कि जिम्मेदारी तय होगी और भविष्य में इस तरह की घटनाओं से बचा जा सकेगा।